भारत की दंडात्मक कार्रवाई से बौखलाए पाकिस्तान ने इसके प्रभाव पर चर्चा के लिए सुरक्षा निकाय की बैठक बुलाई

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 24-04-2025
Pakistan, rattled by India's punitive action, calls a meeting of security bodies to discuss its impact
Pakistan, rattled by India's punitive action, calls a meeting of security bodies to discuss its impact

 

नई दिल्ली/इस्लामाबाद

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए हमले के बाद भारत द्वारा पाकिस्तान के खिलाफ उठाए गए पांच बड़े कदमों से परेशान पाकिस्तान ने राष्ट्रीय सुरक्षा समिति (एनएससी) की बैठक बुलाई। इस बैठक में पाकिस्तान इस बात पर विचार कर रहा है कि भारत द्वारा उठाए गए इन कदमों का कैसे जवाब दिया जाए.

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की अध्यक्षता में हो रही इस बैठक में शीर्ष असैन्य और सैन्य नेतृत्व के सदस्य आंतरिक और बाह्य सुरक्षा स्थिति पर चर्चा कर रहे हैं और भारतीय कदमों की समीक्षा कर रहे हैं. पाकिस्तानी समाचार चैनल जियो न्यूज के अनुसार, उप प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री इशाक डार ने बैठक से पहले कहा कि "राष्ट्रीय सुरक्षा समिति भारत को व्यापक जवाब देने की योजना बनाएगी."

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार द्वारा उठाए गए कदमों के बीच इस बैठक की अहमियत और बढ़ गई है. पहलगाम हमले में 26 लोगों की जान जाने के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ कुछ दंडात्मक कदम उठाए हैं, जिनमें से पांच प्रमुख कदम इस प्रकार हैं:

  1. सिंधु जल संधि का निलंबन: भारत ने सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया, जब तक पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद के समर्थन को पूरी तरह से बंद नहीं करता.

  2. अटारी चेक पोस्ट बंद करना: भारत ने अटारी स्थित एकीकृत चेक पोस्ट को तुरंत बंद करने का निर्णय लिया है.

  3. पाकिस्तानी नागरिकों के लिए वीजा प्रतिबंध: पाकिस्तान के नागरिकों को सार्क वीज़ा छूट योजना (एसवीईएस) के तहत भारत में यात्रा करने की अनुमति नहीं दी जाएगी और पहले जारी किए गए सभी एसवीईएस वीज़ा रद्द कर दिए जाएंगे. एसवीईएस वीज़ा पर भारत में मौजूद पाकिस्तानी नागरिकों को भारत छोड़ने के लिए 48 घंटे का समय दिया गया है.

  4. पाकिस्तानी उच्चायोग के अधिकारियों को अवांछित घोषित करना: भारत ने इस्लामाबाद स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग के रक्षा, नौसेना और वायु सेना सलाहकारों को अवांछित व्यक्ति घोषित किया है और पाकिस्तानी उच्चायोग में उनकी संख्या को घटाने का निर्णय लिया है.

  5. उच्चायोगों की संख्या घटाना: भारत ने पाकिस्तान और भारत के बीच उच्चायोगों की कुल संख्या को 55 से घटाकर 30 कर दिया है.

हालांकि कई पाकिस्तानी मंत्रियों ने इन निर्णयों की निंदा की है, लेकिन पाकिस्तान ने अभी तक इन पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है.भारत के ये कदम पाकिस्तान द्वारा आतंकवाद के समर्थन और सीमा पार से हो रहे हमलों के जवाब में उठाए गए हैं, और इन कदमों को "सीमा पार आतंकवाद के खिलाफ निर्णायक प्रतिक्रिया" के रूप में प्रस्तुत किया गया है.