नई दिल्ली. अमेरिका के जॉर्जटाउन विश्वविद्यालय में पढ़ रहे एक भारतीय छात्र को गिरफ्तार किया गया है. गिरफ्तार भारतीय छात्र का नाम बदर खान सूरी है. वह वहां पोस्टडॉक्टरल फेलो थे. उन्हें संयुक्त राज्य अमेरिका से निर्वासित कर दिया जाएगा.
खान के वकील के अनुसार, खान को सोमवार रात वर्जीनिया स्थित उनके आवास से गिरफ्तार किया गया. रिपोर्ट के अनुसार कुछ नकाबपोश लोग उन्हें गिरफ्तार करने आए थे. गिरफ्तारी के कागजात के अनुसार, नकाबपोश एजेंटों ने स्वयं को होमलैंड सुरक्षा विभाग का कर्मचारी बताया. उन्होंने खान को बताया कि सरकार ने उनका वीजा रद्द कर दिया है.
सूरी के वकील हसन अहमद ने खान की रिहाई के लिए अपनी याचिका में तर्क दिया कि सूरी की पत्नी फिलिस्तीनी मूल की है और अमेरिकी नागरिक है, यही वजह है कि उन्हें गिरफ्तार किया गया. सरकार को संदेह है कि वह और उनकी पत्नी इजरायल के प्रति अमेरिकी विदेश नीति के विरोधी हैं.
सीरिया पर फिलिस्तीनी संगठन हमास को बढ़ावा देने का आरोप है, जिसे संयुक्त राज्य अमेरिका ने आतंकवादी संगठन घोषित किया है. सूरी पर एक ज्ञात या संदिग्ध आतंकवादी से घनिष्ठ संबंध रखने का आरोप है.
होमलैंड सुरक्षा विभाग की सहायक सचिव ट्रिशिया मैकलॉघलिन ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा कि सूरी जॉर्जटाउन विश्वविद्यालय में छात्र था. वह विश्वविद्यालय में हमास को बढ़ावा दे रहा था. वह सोशल मीडिया पर यहूदी विरोधी भावनाओं को बढ़ावा दे रहा था.
उन्होंने लिखा कि सूरी के एक ज्ञात या संदिग्ध आतंकवादी से घनिष्ठ संबंध हैं, जो हमास का वरिष्ठ सलाहकार है. विदेश मंत्री ने 15 मार्च, 2025 को एक आदेश जारी किया, जिसमें पाया गया कि सूरी की गतिविधियाँ और संयुक्त राज्य अमेरिका में उनकी उपस्थिति उन्हें आई.एन.ए. की धारा 237(ए)(4)(सी)(आई) के तहत निर्वासन के अधीन बनाती है.
डॉ. सूरी वाशिंगटन डीसी में जॉर्जटाउन विश्वविद्यालय के एडमंड ए. वाल्श स्कूल ऑफ फॉरेन सर्विस में अलवलीद बिन तलाल सेंटर फॉर मुस्लिम-क्रिस्चियन अंडरस्टैंडिंग में पोस्टडॉक्टरल फेलो हैं. उन्होंने 2020 में नेल्सन मंडेला सेंटर फॉर पीस एंड कॉन्फ्लिक्ट रेजोल्यूशन, जामिया मिलिया इस्लामिया, दिल्ली से शांति और संघर्ष अध्ययन में पीएचडी पूरी की.