नागपुर : वाजपेयी, राजीव गांधी, एपीजे अब्दुल कलाम की सुरक्षित उड़ानों का गवाह एमआई-8 हेलीकॉप्टर

Story by  मलिक असगर हाशमी | Published by  [email protected] | Date 03-01-2025
Witness to safe flights of Vajpayee, Rajiv Gandhi, APJ Abdul Kalam: The glory of Mi-8 helicopter in Nagpur
Witness to safe flights of Vajpayee, Rajiv Gandhi, APJ Abdul Kalam: The glory of Mi-8 helicopter in Nagpur

 

मलिक असगर हाशमी/ नागपुर

भारतीय सेना में कई ऐसे हीरो हुए हैं, जिनकी सौर्य गाथा आज भी बड़े चाव से सुनाई जाती है. वैसे ही भारतीय वायु सेना का ‘एमआई 8 मल्टी रोल मीडियम लिफ्ट हेलीकॉप्टर 2-3041 है, जिसके नाम न केवल कई रिकाॅर्ड हैं. इसे राष्ट्रपति रहते एपीजे अब्दुल कलाम, प्रतिभा देवीसिंह पाटिल, प्रधानमंत्री रहते राजीव गांधी, अटल बिहारी, मनमोहन सिंह प्रणव मुखर्जी सरीखे देश के मानी हुई सियासी शख्सियत के महत्वपूर्ण मौके पर सवारी कराने का गौरव प्राप्त है.

महाराष्ट्र के विदर्भ क्षेत्र के प्रमुख शहर तथा राष्ट्रीय स्वंय सेवक संघ के मुख्यालय होने के कारण चर्चित नागपुर में एयरफोर्स का प्रमुख हेडक्वार्टर है. इससे तकरीबन दो किलोमीटर आगे ‘फूटेला तालाब’ नाम से एक सरोवर है.

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यह इलाका शहर के युवाओं का पसंदीदा मौज-मस्ती का केंद्र है. फूटेला तालाब के ठीक नुक्कड़ पर आप को ‘एमआई 8 मल्टी रोल मीडियम लिफ्ट हेलीकाॅपटर एक बड़े पेडस्टल के सहारे खड़ा मिल जाएगा. यहां खड़े होकर अक्सर युवा सेल्फी खिंचते-खिंचाते हैं. होलीकाॅप्टर के साथ ही एक बड़ा सा बोर्ड लगा है, जिसमें इसके बारे में पूरी डिटेल दी गई है. यह हेलीकॉप्टर तकरीबन 29 वर्ष पहले वायु सेना से रिटाॅयर हो चुका है.

 भारतीय वायुसेना में शामिल ऐतिहासिक और विशिष्ट विमानों में 'एमआई-8 मल्टी रोल मीडियम लिफ्ट हेलीकॉप्टर' का नाम स्वर्ण अक्षरों में लिखा गया है. यह हेलीकॉप्टर न केवल भारतीय वायुसेना की सेवा में रहा बल्कि राष्ट्र के सर्वोच्च पदाधिकारियों का अभिन्न हिस्सा भी रहा.

नागपुर के फूटाला तालाब के पास प्रदर्शित यह हेलीकॉप्टर आज भी शहरवासियों और पर्यटकों का आकर्षण केंद्र है, जो भारतीय वायुसेना की समृद्ध धरोहर को दर्शाता है.


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एमआई-8: इतिहास और महत्व

एमआई-8 हेलीकॉप्टर को उसके डिजाइनर मिखाइल लॉटयेव मिल के नाम पर रखा गया था. इसे माॅस्को हेलीकॉप्टर प्लांट में निर्मित किया गया था. यह दो टर्बो प्रॉप इंजनों से संचालित होता है, जिनकी प्रत्येक की शक्ति 1450 स्टेटिक हॉर्सपावर है. इस बहु-भूमिका वाले हेलीकॉप्टर का उपयोग सैनिकों और उपकरणों के परिवहन, एयर एंबुलेंस के रूप में, और आक्रामक कार्यों में रॉकेट व बम से लैस हेलीकॉप्टर गनशिप के रूप में किया गया.

फरवरी 1988 में निर्मित एमआई-8 हेलीकॉप्टर का संस्करण विशेष रूप से वीवीआईपी परिवहन के लिए तैयार किया गया था. इसे भारतीय वायुसेना के वायु मुख्यालय संचार स्क्वाड्रन में शामिल किया गया था. 29 वर्षों की सेवा के दौरान, इसने राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम, प्रतिभा पाटिल, प्रणब मुखर्जी, प्रधानमंत्री राजीव गांधी, अटल बिहारी वाजपेयी, और मनमोहन सिंह,हामिद अंसारी जैसे दिग्गज नेताओं के आधिकारिक दौरों में उनकी सुरक्षा सुनिश्चित की.

यह हेलीकॉप्टर अपनी सेवा अवधि के दौरान 6240 घंटे की उड़ान भर चुका है. इसे 29 फरवरी 2017 को सेवा से सेवानिवृत्त किया गया और इसके बाद इसे नागपुर के फूटाला तालाब के पास प्रदर्शन के लिए रखा गया. यह हेलीकॉप्टर अब प्रेरणा और गौरव का प्रतीक बन चुका है.

फूटाला तालाब पर एमआई-8 की विरासत

नागपुर के फूटाला तालाब के पास स्थित इस हेलीकॉप्टर को देखने और इसके साथ तस्वीरें खिंचाने के लिए लोग बड़ी संख्या में आते हैं. यहां एक बड़ा बोर्ड भी लगा है, जो इस हेलीकॉप्टर की समृद्ध सेवा यात्रा और तकनीकी विशिष्टताओं को बताता है. नागपुर निवासी शहला प्रवीन कहती हैं, "यह हमारे देश की वायुसेना का शान रह चुका है, और इसे देखकर गर्व महसूस होता है."

नागपुर में वायुसेना का प्रमुख केंद्र

नागपुर में भारतीय वायुसेना का एक प्रमुख हेडक्वार्टर है. इसे मेंटेनेंस कमांड के रूप में जाना जाता है. मेंटेनेंस कमांड का आदर्श वाक्य है, "सर्वदा गगनेशरेत," जो भारतीय वायुसेना के आदर्श वाक्य "नभ स्पर्शं दीपतम" को पूरा करता है.

मेंटेनेंस कमांड की स्थापना 26 जनवरी 1955 को कानपुर में हुई थी. हालांकि, भारतीय वायुसेना की भविष्य की जरूरतों को देखते हुए इसका विस्तार नागपुर में किया गया. मेंटेनेंस कमांड भारतीय वायुसेना के विमानों, मिसाइलों, रडार और अन्य तकनीकी उपकरणों के रखरखाव और ओवरहाल की जिम्मेदारी संभालता है..


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फीनिक्स का प्रतीक: पुनर्जन्म की कथा

मेंटेनेंस कमांड का प्रतीक फीनिक्स पक्षी है, जो आग से पुनर्जन्म लेकर नई ऊर्जा और शक्ति के साथ वापस आता है. यह प्रतीक भारतीय वायुसेना के विमानों और उपकरणों के रखरखाव और ओवरहाल की प्रक्रिया को दर्शाता है, जहां पुराने उपकरणों को नई क्षमता और जीवन प्रदान किया जाता है.

नागपुर में एमआई-8 हेलीकॉप्टर और वायुसेना का मेंटेनेंस कमांड, भारतीय वायुसेना की समृद्ध विरासत और इसकी उत्कृष्टता को दर्शाते हैं. एमआई-8 हेलीकॉप्टर केवल एक मशीन नहीं है, बल्कि यह भारतीय वायुसेना की गौरवशाली सेवा, सटीकता और जिम्मेदारी का प्रतीक है. नागपुर आने वाले लोगों के लिए यह एक प्रेरणादायक स्थल है, जो भारतीय वायुसेना की ऐतिहासिक और तकनीकी उत्कृष्टता की झलक प्रदान करता है.