आवाज द वाॅयस / नई दिल्ली
दुबई के क्राउन प्रिंस और यूएई के उप प्रधानमंत्री व रक्षा मंत्री महामहिम शेख हमदान बिन मोहम्मद बिन राशिद अल मकतूम भारत यात्रा पर हैं और इस दौरान उन्होंने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के भविष्य को लेकर कई अहम चर्चाएं कीं।
मुंबई में हुई इस विशेष बैठक में उन्होंने इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) के अध्यक्ष जय शाह से मुलाकात की, साथ ही भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा, टी20 कप्तान हार्दिक पांड्या और स्टार बल्लेबाज़ सूर्यकुमार यादव से भी चर्चा की. इस संवाद का उद्देश्य यूएई को वैश्विक क्रिकेट का स्थायी केंद्र बनाने के प्रयासों को गति देना था.
शेख हमदान ने कहा कि दुबई पहले ही 2005 से ICC मुख्यालय की मेजबानी कर रहा है और यहां कई महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों का आयोजन हो चुका है, जिनमें हाल ही में आयोजित ICC चैंपियंस ट्रॉफी 2025 भी शामिल है. उन्होंने भारत की इस टूर्नामेंट में शानदार जीत पर खिलाड़ियों को बधाई दी.
फाइनल मुकाबला, जो दुबई इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम में खेला गया था, में भारतीय टीम ने जबरदस्त प्रदर्शन करते हुए खिताब अपने नाम किया.
बैठक के दौरान भारतीय खिलाड़ियों ने भी यूएई की विश्व स्तरीय क्रिकेट सुविधाओं और आयोजन क्षमता की तारीफ की. उन्होंने बताया कि यूएई में खेलना उनके लिए हमेशा एक बेहतरीन अनुभव रहा है – चाहे वह पिच की गुणवत्ता हो, या दर्शकों का उत्साह.
शेख हमदान ने कहा,
"यूएई का विकसित बुनियादी ढांचा, नवाचारों की संस्कृति और वैश्विक दृष्टिकोण इसे अंतरराष्ट्रीय खेल उत्कृष्टता का एक प्राकृतिक केंद्र बनाते हैं. हम क्रिकेट को वैश्विक स्तर पर और अधिक सशक्त बनाने के लिए भारत जैसे मित्र देशों के साथ दीर्घकालिक साझेदारी को बढ़ावा देना चाहते हैं."
उन्होंने अमीरात क्रिकेट बोर्ड और उसके अध्यक्ष महामहिम शेख नाहयान बिन मुबारक अल नाहयान के प्रयासों की भी सराहना की, जिनकी अगुवाई में यूएई में क्रिकेट को अभूतपूर्व समर्थन मिला है.
महामहिम शेख हमदान ने इस बात पर ज़ोर दिया कि अमीरात क्रिकेट बोर्ड (ECB), महामहिम शेख नाहयान बिन मुबारक अल नाहयान के नेतृत्व में, यूएई में क्रिकेट के व्यापक प्रसार और संस्थागत विकास में एक दृढ़ और सक्रिय भूमिका निभा रहा है.
उन्होंने स्पष्ट किया कि यूएई केवल अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों की मेज़बानी तक सीमित नहीं रहना चाहता, बल्कि उसका उद्देश्य क्रिकेट को सामाजिक स्तर पर गहराई से स्थापित करना और स्थानीय प्रतिभाओं को प्रशिक्षित कर अंतरराष्ट्रीय मंच तक पहुँचाना है. इसके लिए बुनियादी ढांचे के विस्तार, कोचिंग प्रोग्राम और क्रिकेट अकादमियों की स्थापना जैसे कई योजनाओं पर तेजी से कार्य किया जा रहा है।
भारत और संयुक्त अरब अमीरात के बीच यह संवाद केवल खेल जगत का सहयोग नहीं, बल्कि राजनयिक रिश्तों में एक नया अध्याय है. क्रिकेट के माध्यम से दोनों देशों के बीच सांस्कृतिक और रणनीतिक समीपता और अधिक मजबूत हो रही है.
जहां भारत क्रिकेट का जन्मस्थान और दुनिया का सबसे बड़ा क्रिकेट बाजार है, वहीं यूएई उसे एक वैश्विक मंच, आधुनिक बुनियादी ढांचा और अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धा का मंच प्रदान कर रहा है. यह सहयोग आने वाले समय में खेल-आधारित कूटनीति (Sports Diplomacy) का आदर्श उदाहरण बन सकता है.