राजौरी. जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले के बुधाल गांव में फैल रही रहस्यमयी बीमारी ने पूरे इलाके में डर और खौफ का माहौल बना दिया है. अब तक इस बीमारी से 17 मासूम अपनी जान गंवा चुके हैं, जबकि छह लोग अस्पताल में जिंदगी और मौत की जंग लड़ रहे हैं.
इस रहस्यमयी बीमारी का पता करने के लिए सरकार शिविर लगाकर लोगों की जांच कर रही है. साथ ही उनके जैविक नमूने देश की बड़ी-बड़ी प्रयोगशालाओं में भेजे जा रहे हैं. दूसरी तरफ, लोग इस बीमारी से लड़ने के लिए राजौरी की प्रसिद्ध दरगाह शाहदरा शरीफ में दुआएं भी मांग रहे हैं.
इस कठिन घड़ी में राजौरी की प्रसिद्ध दरगाह शाहदरा शरीफ उम्मीद का केंद्र बन चुकी है. यहां दिन-रात, सुबह-शाम बुधाल गांव के लिए दुआएं मांगी जा रही हैं. यह दरगाह बाबा गुलाम शाह बादशाह की दरगाह के नाम से भी जानी जाती है, और स्थानीय मान्यता है कि यहां आने वाले लोगों की बीमारियां दूर होती हैं, बेऔलाद को औलाद का सुख मिलता है और हर मनोकामना पूरी होती है.
शाहदरा शरीफ दरगाह के मौलाना ने शनिवार को आईएएनएस से कहा, "हम दुआ कर रहे हैं कि ऊपर वाले ताला उन्हें शिफा दें और इस दरबार से उनकी बीमारी दूर कर दें. अगर कोई साजिश है, तो उसे भी बेनकाब कर दें. हम चाहते हैं कि लोग अपने घरों में बैठकर भी उनके लिए दुआ करें, और जो यहां आते हैं, वे खासकर उनके लिए दुआ करें."
उन्होंने कहा कि दुआ में बहुत ताकत है. सही है कि दवाइयां भी जरूरी हैं, लेकिन दुआ की ताकत अलग होती है. ऊपर वाले ने डॉक्टरों और मेडिकल साइंस को भी बनाया है, लेकिन दुआ में एक खास ताकत होती है.
उन्होंने कहा, "हम यहां से भी उनकी दुआ करते हैं और सभी से कहते हैं कि जो यह सुन रहे हैं, वे भी उनके लिए दुआ करें. लोग पूरे भारत से यहां आते हैं, चाहे वे बीमार हों, बेऔलाद हों या बेरोजगार नौजवान हों. वे यहां आकर ऊपर वाले से दुआ करते हैं कि ऊपर वाले ताला उन्हें अच्छा रोजगार दें और उनकी सभी परेशानियां दूर करें. यह सिर्फ हमारे जिला राजौरी की बात नहीं है, बल्कि पूरे भारत से लोग यहां आते हैं, खासकर बीमार और बिना संतान के लोग."