लाखों फिलिस्तीनी भुखमरी के कगार पर, उनकी बेकरियों पर लग जाएगा ताला 

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 21-11-2024
Millions of Palestinians on the verge of starvation, their bakeries will be closed
Millions of Palestinians on the verge of starvation, their bakeries will be closed

 

संयुक्त राष्ट्र. गाजा में आटे और ईंधन की कमी के कारण लाखों भूखे फिलिस्तीनियों को भोजन उपलब्ध कराने वाली बेकरियों के बंद होने का खतरा है. संयुक्त राष्ट्र के मानवीय कार्यकर्ताओं ने आशंका जाहिर की है.  

शिन्हुआ समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, मानवीय मामलों के समन्वय के लिए संयुक्त राष्ट्र कार्यालय (ओसीएचए) ने कहा कि यह चेतावनी ऐसे समय में आई है जब गाजा के कुछ हिस्सों में अकाल का खतरा मंडरा रहा है.

वर्ल्ड फूड प्रोग्राम ने कहा कि गाजा में मानवीय भागीदारों के समर्थन से चल रही 19 बेकरियों में से केवल सात ही अभी काम कर रही हैं. इनमें देइर अल बलाह में दो, खान यूनिस में एक और गाजा शहर में चार बेकरियों शामिल है.

राफा और उत्तरी गाजा प्रांत में संयुक्त राष्ट्र समर्थित सात बेकरियां हमलों की वजह से बंद पड़ी है.

ओसीएचए ने कहा कि देइर अल बलाह और खान यूनिस में तीन बेकरी जो अभी भी चल रही हैं, उन्हें हमारे साझेदारों से मदद मिल रही है. ये अभी भी अत्यधिक उच्च मांग को पूरा करने के लिए पूरी क्षमता से काम कर रही हैं, लेकिन उनके पास सप्ताह के अंत तक का ही आटा बचा है.

कार्यालय ने कहा कि आटे की कमी के कारण इसी क्षेत्र में कई अन्य बेकरियों को इस सप्ताह की शुरुआत में परिचालन बंद करने के लिए मजबूर होना पड़ा.

ओसीएचए ने बताया कि गाजा शहर में हमने जिन चार बेकरियों का उल्लेख किया है, उन्हें ईंधन की घटती आपूर्ति के कारण मंगलवार से अपनी क्षमता में 50 प्रतिशत की कमी करने के लिए मजबूर होना पड़ा.

मानवतावादियों ने यह भी कहा कि साझेदारों ने रिपोर्ट दी है कि गाजा पट्टी के मध्य और दक्षिणी हिस्सों में गंभीर भूख का सामना करने वाले परिवारों की संख्या में भारी वृद्धि हुई है.

ओसीएचए ने चेतावनी दी कि गाजा में सार्वजनिक व्यवस्था और सुरक्षा में गिरावट के कारण संगठित सशस्त्र लूटपाट बढ़ रही है. इसकी वजह से सहायता कर्मियों के लिए भी खतरा बढ़ रहा है, जिससे मानवीय संगठनों के लिए अपना काम करना लगभग असंभव हो गया है.

ओसीएचए ने आगे कहा कि सोमवार तक, इजरायली अधिकारियों ने इस महीने गाजा पट्टी में लगभग पहले प्लान 320 मदद कार्यक्रमों में से केवल 40 प्रतिशत को अनुमति दी. बाकी को सुरक्षा और रसद चुनौतियों के कारण अस्वीकार कर दिया गया, बाधित किया गया या रद्द कर दिया गया.

कार्यालय ने यह भी कहा कि लेबनान में संघर्ष के व्यापक पैमाने पर बढ़ने के लगभग दो महीने बाद 3 हजार लोगों के मारे जाने का अनुमान है और 7 लाख 70 हजार से अधिक लोग अपने घरों से विस्थापित हो गए हैं.

संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (यूनिसेफ) की रिपोर्ट है कि 200 से अधिक बच्चे मारे गए, इसका अर्थ है कि औसतन हर दिन तीन बच्चों की मौत हो रही है.