मुंबई. एनआईए की एक विशेष अदालत ने भारत में अवैध घुसपैठ और फर्जी दस्तावेज रखने के लिए तीन बांग्लादेशियों को पांच साल कैद की सजा सुनाई है. मुंबई में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की विशेष अदालत ने मोहम्मद हबीबुर रहमान हबीब उर्फ राज जेसुब मंडल, हन्नान अनवर हुसैन खान उर्फ हन्नान बाबूराली गाजी और मोहम्मद अजरली सुभानल्लाह उर्फ राजा जेसुब मंडल पर 2,000-2,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है, एजेंसी द्वारा जारी एक विज्ञप्ति के अनुसार.
एनआईए ने कहा कि यह मामला मार्च 2018 में पुणे पुलिस द्वारा दर्ज की गई एफआईआर से शुरू हुआ था, जिसमें कई बांग्लादेशी नागरिकों के बिना वैध दस्तावेजों के पुणे में रहने और प्रतिबंधित आतंकी संगठन अलकायदा के मुखौटा संगठन एबीटी के सदस्यों को उकसाने और सहायता करने के बारे में इनपुट के आधार पर मामला दर्ज किया गया था.
अपनी जांच के आधार पर, एनआईए ने 7 सितंबर, 2018 को यूएपीए, आईपीसी और विदेशी अधिनियम के तहत दर्ज मामलों में तीन लोगों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था.
तीनों आरोपियों को विदेशी अधिनियम की धारा 14 (वैध दस्तावेजों के बिना भारत में अधिक समय तक रहने के लिए), आईपीसी की धारा 471 (जाली दस्तावेजों को वास्तविक के रूप में उपयोग करने के लिए), और आईपीसी की धारा 120-बी (दस्तावेज जालसाजी से संबंधित साजिश के लिए) के तहत दोषी ठहराया गया और सजा सुनाई गई.