आवाज द वाॅयस /नई दिल्ली
कंगना रनौत अभिनीत फिल्म इमरजेंसी को आखिरकार रिलीज के लिए मंजूरी मिल गई है, लेकिन इस फिल्म को कुछ देशों में चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है.यह फिल्म 70 के दशक में प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के शासनकाल के दौरान लागू किए गए आपातकाल की काली कहानी पर आधारित है.हालांकि, यह फिल्म बांग्लादेश में रिलीज नहीं हो पाएगी.
फिल्म से जुड़े सूत्रों का कहना है कि यह निर्णय भारत और बांग्लादेश के बीच चल रहे राजनीतिक मुद्दों और फिल्म में बांग्लादेश के पूर्व प्रधानमंत्री शेख मुजीबुर रहमान की हत्या के चित्रण से जुड़ा हुआ है.
बांग्लादेश में फिल्म की स्क्रीनिंग पर रोक
आईएएनएस के सूत्रों के मुताबिक, "बांग्लादेश में इमरजेंसी की स्क्रीनिंग पर रोक का फैसला मुख्य रूप से भारत और बांग्लादेश के बीच चल रहे तनावपूर्ण संबंधों से जुड़ा हुआ है.फिल्म की विषय-वस्तु से ज्यादा यह राजनीतिक गतिशीलता का परिणाम है."
इसके अलावा, फिल्म में बांग्लादेशी चरमपंथियों द्वारा शेख मुजीब उर रहमान की हत्या को दिखाया गया है, जिसे बांग्लादेश के जनक के रूप में सम्मानित किया जाता है, और इसने भी फिल्म की रिलीज को प्रभावित किया है.
1971 में बांग्लादेश युद्ध के दौरान इंदिरा गांधी ने पाकिस्तान के खिलाफ बांग्लादेश का समर्थन किया था, जिसके कारण भारत और पाकिस्तान के बीच युद्ध हुआ.इसके बाद, 1975 से 1977 तक भारत में आपातकाल की स्थिति लागू की गई, जिसमें आंतरिक और बाहरी खतरों का हवाला दिया गया.
इमरजेंसी के बारे में - फिल्म
कंगना रनौत द्वारा निर्देशित इमरजेंसी एक राजनीतिक थ्रिलर है, जिसमें अनुपम खेर, श्रेयस तलपड़े, विशाक नायर, महिमा चौधरी, मिलिंद सोमन और सतीश कौशिक जैसे कलाकार मुख्य भूमिका में हैं.