आवाज द वाॅयस/ नई दिल्ली/लखनऊ
रमजान के पाक महीने की शुरूआत चांद देखने के साथ हो गई. इस पवित्र महीने में मुस्लिम समुदाय के लोग रोज़ा रखते हैं और इबादत में मशगूल रहते हैं. इस अवसर पर लखनऊ स्थित इस्लामिक सेंटर ऑफ इंडिया के चेयरमैन और ईदगाह के इमाम मौलाना खालिद रशीद फिरंगी महली ने एक महत्वपूर्ण 15 सूत्रीय एडवाइजरी जारी की है.
इसमें रमज़ान के दौरान की जाने वाली इबादत, समाजिक सौहार्द्र बनाए रखने और देश की सलामती के लिए दुआ करने की अपील की गई है.
देश में 2 मार्च को पहला रोज़ा रखा जाएगा. मौलाना खालिद रशीद फिरंगी महली ने मुसलमानों से अपील की है कि रमज़ान के दौरान अधिक से अधिक इबादत करें और इस मुबारक महीने की बरकतों को हासिल करें. उन्होंने कुछ महत्वपूर्ण बिंदुओं पर ज़ोर देते हुए कहा कि:
रोज़े और इबादत का एहतमाम करें – रमज़ान सबसे पवित्र महीना है, जिसमें रोज़ा रखना हर मुसलमान के लिए फर्ज़ है.
सहरी और इफ्तार का खास ख्याल रखें – सहरी और इफ्तार इस महीने की खास इबादतें हैं, जिनका ध्यान रखना जरूरी है.
माइक पर बार-बार ऐलान न करें – सहरी के वक्त बार-बार माइक पर ऐलान करने से परहेज करें ताकि अन्य लोगों को असुविधा न हो.
मोहल्ले और पड़ोसियों की चिंता करें – रमज़ान के दौरान पड़ोसियों और अन्य समुदायों का विशेष ख्याल रखें.
तरावीह की नमाज़ का ध्यान रखें – यह सुन्नत है, इसलिए इसका पूरा एहतमाम किया जाए.
गाड़ियों की पार्किंग उचित स्थान पर करें – मस्जिदों के बाहर गाड़ियों को सही जगह पर खड़ा करें ताकि ट्रैफिक जाम न हो.
गरीबों को इफ्तार में शामिल करें – बड़े पैमाने पर होने वाली इफ्तार पार्टियों में गरीबों को भी शामिल करें.
मस्जिदों में साफ-सफाई का ध्यान दें – रमज़ान के दौरान मस्जिदों और आसपास के इलाकों की सफाई सुनिश्चित करें.
जरूरतमंदों की मदद करें – रमज़ान में जकात और सदकात का विशेष महत्व है, इसलिए इसका पालन करें.
देश की सलामती और भाईचारे के लिए दुआ करें – अपने मुल्क और समाज की भलाई के लिए रमज़ान में दुआ करें.
सहरी के वक्त शोर न मचाएं – सुबह-सुबह अधिक शोरगुल करने से बचें, जिससे दूसरों को परेशानी न हो.
दीन और कुरान की तालीम को बढ़ावा दें – इस महीने को कुरान की तालीम और इस्लामिक शिक्षाओं के प्रचार-प्रसार के लिए इस्तेमाल करें.
मस्जिदों में अनुशासन बनाए रखें – मस्जिदों में आने वाले नमाजियों के लिए उचित व्यवस्था सुनिश्चित करें.
बेवजह की अफवाहों से बचें – रमज़ान के दौरान किसी भी तरह की अफवाहों से दूर रहें और समाज में शांति बनाए रखें.
सभी धार्मिक आयोजनों में अनुशासन बनाए रखें – रमज़ान के दौरान होने वाले सभी आयोजनों में शांति और संयम बनाए रखें.
रमज़ान की शुरुआत से पहले प्रशासन ने भी तैयारियों का जायजा लिया है. उत्तर प्रदेश सरकार के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने त्योहारों को शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न कराने के लिए अधिकारियों को विशेष निर्देश दिए हैं.
उन्होंने होली, रमज़ान, नवरोज, चैत्र नवरात्रि और रामनवमी जैसे त्योहारों को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने के आदेश दिए हैं.इसके अलावा, 14 मार्च को पड़ने वाली होली के दिन भी प्रशासन ने सतर्क रहने को कहा है ताकि किसी भी तरह की अप्रिय स्थिति न बने.
पुलिस महकमा रमज़ान के दौरान सुरक्षा व्यवस्था को लेकर पहले से ही अलर्ट पर है और सभी मस्जिदों व प्रमुख धार्मिक स्थलों पर विशेष सुरक्षा इंतजाम किए गए हैं.
इस बार रमज़ान मार्च के महीने में आ रहा है, जो आमतौर पर गर्मी की शुरुआत का समय होता है. मौसम विभाग के अनुसार, मार्च में राजधानी दिल्ली का औसत तापमान 20°C से 33°C के बीच रहने की संभावना है. कुछ दिनों तक हल्की बारिश और बादल छाए रहने की संभावना भी जताई गई है.
श्रीनगर और अन्य पहाड़ी इलाकों में ठंड बनी रहेगी। श्रीनगर का औसत तापमान 1°C से 13°C के बीच रहने का अनुमान है, जबकि शिमला में 8°C से 23°C तक रहने की संभावना है। इन क्षेत्रों में बारिश और बर्फबारी भी हो सकती है.
बदलते मौसम में सेहत पर असर पड़ सकता है, इसलिए रोज़ेदारों को विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है. गर्मी और ठंड के मिश्रित मौसम में ठंडी चीजों से बचें और हाइड्रेटेड रहें। बुजुर्गों, बच्चों और बीमार लोगों का खास ध्यान रखा जाना चाहिए.
रमज़ान सिर्फ इबादत का महीना नहीं है, बल्कि यह समाज में भाईचारे, सहयोग और संयम का भी प्रतीक है. इस्लामिक सेंटर ऑफ इंडिया द्वारा जारी 15 सूत्रीय एडवाइजरी का पालन कर मुसलमान न केवल अपने रमज़ान को बेहतर बना सकते हैं, बल्कि समाज में सौहार्द्र और शांति का संदेश भी दे सकते हैं.