फैजान खान /आगरा
क्या बनाने आए थे और क्या बना बैठे, कहीं मंदिर बना बैठे तो कहीं मस्जिद बना बैठे, हमसे तो अच्छी जात है परिंदों की, जो कभी मस्जिद पे जा बैठे, कभी मंदिर पर-ये चंद लाइनें आगरा के हाजी इकबाल अहमद और उनकी कला पर सटीक बैठती हैं.
उनकी बनाई लक्ष्मी-गणेश की मूर्ति और तस्वीरों से देश में ही नहीं,विदेशों में भी दिवाली पर पूजा की तैयारी है. उनके पास दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, हैदराबाद के अलावा दुबई, सऊदी अरब, अमेरिका, कनाडा आदि देशों से आर्डर आए हैं.
विदेशों के आर्डर तो कई दिनों पहले पूरे कर जा चुके, जबकि देश के आर्डर रविवार तक भेजे गए. हाजी इकबाल लक्ष्मी-गणेश की मूर्ति के अक्स को अपनी कला में ऐसे उतारते हैं, जैसे वो जीवंत हों. वह कहते हैं, कलाकार का कोई मजहब नहीं होता. ये तो कुछ सियासतदां ने समाज को बांटने की कोशिश की है, जिसे अमन परस्त लोग कभी बंटने नहीं देंगे.
वह अपनी पच्चीकारी कला से सद्भावना का संदेश दे रहे हैं. उन्होंने एक से एक शानदार मूर्ति बनाई हैं, जिन्हें देखते ही लोग तारीफ करने को मजबूर हो जाते हैं. हाजी मोहम्मद इकबाल ने दिवाली के लिए अपने हाथों से ब्रास-एमओपी और ब्रास-मेलाकाइट से लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियां बनाई हैं.
देश ही नहीं,विदेशों से भी लक्ष्मी-गणेश की मूर्ति के ऑर्डर आए. सभी आर्डर को पूरा करके भेज दिया है.कुरआन की आयतों से लेकर आदम कद तक बनाई मूर्तियां हाजी इकबाल ने बताया कि हम कलाकारों के पास हर मजहब के लोग अपनी ख्वाहिश लेकर आते हैं.
हम भी उनकी भावनाओं का सम्मान करते हुए अपनी कला को सभी सामने रखने की कोशिश करते हैं. हमने ने मक्का-ए-मुनव्वरा के लिए कुरान की आयतें लिखकर दी हैं, तो भगवान गौतम बुद्ध की छोटी से लेकर आदम कद तक मूर्तियां बनाई हैं.
पिछले दिनों भगवान श्री कृष्ण, श्रीनाथ जी, भगवान गणेश, श्री बांके बिहारी, ठाकुर जी की मूर्तियां मार्बिल पर बनाई. देश ही नहीं दुनिया के कई मंदिरों, मस्जिदों और गुरुद्वारों में काम किया है. शिल्प गुरु मोहम्मद इकबाल कहते हैं कि कला ही बची है जिसमें सियायत नहीं.
इन पत्थरों का किया गया इस्तेमाल
मूर्तियों को सादा पत्थरों से नहीं, बल्कि महंगे पत्थरों से बनाया गया है. एक मूर्ति ब्रास-एमओपी सेल से बनाई है. ये पत्थर अंडमान-निकोबार से आता है. दूसरी मूर्ति ब्रास-मेलाकाइट से बनाया है. ये पत्थर साउथ अफ्रीका से मंगाया जाता है. एक मूर्ति तीन-पांच दिन में बनकर तैयार होती है.
अभी हाजी इकबाल के पास शिव-पार्वती, भगवान विष्णु, हनुमान, श्रीकृष्ण, बांके बिहारी, ठाकुर जी महाराज, भगवान राम, सीता.राम आदि देवी-देवताओं की मूर्ति के आर्डर हैं, जो दिवाली के बाद बननी शुरू होंगी.