नई दिल्ली
एक नई रिपोर्ट के अनुसार, प्रीमियम, 5जी और एआई स्मार्टफोन की मजबूत मांग के कारण भारत के स्मार्टफोन बाजार में इस साल 7-8 प्रतिशत की वृद्धि होने का अनुमान है.
भारत में मोबाइल हैंडसेट बाजार में स्थिर वृद्धि जारी रहने की उम्मीद है.
साइबरमीडिया रिसर्च (सीएमआर) के विश्लेषक-इंडस्ट्री इंटेलिजेंस ग्रुप (आईआईजी) पंकज जादली ने कहा, "जैसे-जैसे ब्रांड प्रौद्योगिकी अंतर को पाटने और किफायती 5जी डिवाइस पेश करने पर ध्यान केंद्रित करते हैं, प्रतिस्पर्धा तेज होने की संभावना है. एआई-सक्षम डिवाइस की नई लहर आने वाली तिमाहियों में उपभोक्ता वरीयताओं को बढ़ावा देती रहेगी."
तीसरी तिमाही में, वैश्विक आर्थिक चुनौतियों के बावजूद भारत के स्मार्टफोन बाजार में 3 प्रतिशत की वृद्धि हुई.
भारत में उपभोक्ता मांग मजबूत बनी हुई है, जो मिड-रेंज और प्रीमियम स्मार्टफोन वरीयताओं में वृद्धि के कारण है. 5जी स्मार्टफोन शिपमेंट की हिस्सेदारी बढ़कर 82 प्रतिशत हो गई, जो कि सालाना आधार पर 49 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि है.
तिमाही के दौरान 18 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी के साथ वीवो 5जी स्मार्टफोन बाजार में सबसे आगे रहा, जबकि सैमसंग 17 प्रतिशत के साथ दूसरे स्थान पर रहा.
सीएमआर की एनालिस्ट-इंडस्ट्री इंटेलिजेंस ग्रुप मेनका कुमारी के अनुसार, भारत का स्मार्टफोन बाजार उल्लेखनीय अनुकूलनशीलता प्रदर्शित कर रहा है, जिसमें उपभोक्ता प्राथमिकताएं 5जी अपनाने और प्रीमियम सुविधाओं पर अधिक केंद्रित हैं.
5जी स्मार्टफोन की निरंतर वृद्धि, 10,000 रुपये से 13,000 रुपये के मूल्य बैंड में मजबूत मांग के साथ, सुलभ मूल्य बिंदुओं पर उच्च-प्रदर्शन उपकरणों के लिए बढ़ते उपभोक्ता आधार का संकेत देती है.
इसके अतिरिक्त, प्रीमियमीकरण की लहर मजबूत बनी हुई है, प्रीमियम सेगमेंट (25,000 रुपये से ऊपर) में 26 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि देखी गई, कुमारी ने कहा.
एप्पल ने उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की, जिसमें शिपमेंट में 27 प्रतिशत की वृद्धि हुई. • किसी भी चीज़ ने लगभग 646%= प्रतिशत की प्रभावशाली वृद्धि का अनुभव नहीं किया है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में फीचर फोन बाजार में तीसरी तिमाही में 14 प्रतिशत की गिरावट देखी गई, जिसका मुख्य कारण 4जी फीचर फोन शिपमेंट में 46 प्रतिशत की महत्वपूर्ण गिरावट है.