एपीजे अब्दुल कलाम की जयंती

जीवन में सफलता का आनंद तभी आता है जब कोई सफलता कठिनाई से प्राप्त की जाती है.

जिस दिन हमारे सिग्नेचर आटोग्राफ में बदल जाए, उस दिन मान लीजिए आप कामयाब हो गए.

इससे पहले कि सपने सच हों आपको सपने देखने होंगे.

सपने हमारे तभी तभी सच हो सकते है जब सपनों को पूरा करने के लिए अपनी नींद तक का त्याग कर दें.

सपने वो नहीं होते जो आप सोते समय देखते हैं, सपने वो होते हैं जो आपको सोने नहीं देते.

देश का सबसे अच्छा दिमाग क्लासरूम के आखिरी बेंचों पर मिल सकता है.

यदि हम स्वतंत्र नहीं हैं, तो कोई भी हमारा सम्मान नहीं करेगा.

इंतजार करने वाले को उतना ही मिलता है, जितना कि कोशिश करने वाले छोड़ देते हैं.

मनुष्य के लिए कठिन हालात का होना बहुत जरूरी है क्योंकि इसके बिना आप सफलता का आनंद नहीं ले सकते हैं.

कुछ चीजों को हम बदल नहीं सकते हैं, इसलिए उनको उस रूप में ही स्वीकार करना उचित होता है.

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