जानिए Sheikha Al-Sabah और उनके योग स्टूडियो dar ātma के बारे में, जिन्हें पद्मश्री 2025 से सम्मानित किया जाएगा

Story by  मलिक असगर हाशमी | Published by  [email protected] | Date 27-01-2025
Know about Sheikh Al-Sabah and his yoga studio 'Dar Atma', who will be awarded Padma Shri 2025
Know about Sheikh Al-Sabah and his yoga studio 'Dar Atma', who will be awarded Padma Shri 2025

 

मलिक असगर हाशमी/ नई दिल्ली

गणतंत्र दिवस 2025 के अवसर पर पद्म पुरस्कारों की घोषणा के साथ एक खास नाम चर्चा में है—कुवैत की शेखा अल-सबाह. (Sheikha Al-Sabah) शेखा अल-सबाह को योग के क्षेत्र में उनके अद्वितीय योगदान और खाड़ी देशों में योग को बढ़ावा देने के लिए पद्मश्री से सम्मानित किया जाएगा.

 उन्होंने योग और वेलनेस को लेकर एक ऐसा मंच तैयार किया है, जो न केवल कुवैत बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी लोगों के जीवन में सकारात्मक बदलाव ला रहा है.

kuwait

शेखा अल-सबाह और उनका योग स्टूडियो ‘दार आत्मा’

2014 में स्थापित, 'दार आत्मा' कुवैत का पहला लाइसेंस प्राप्त योग स्टूडियो है. यह स्टूडियो योग, ध्यान, उपचार  के माध्यम से लोगों को शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक रूप से स्वस्थ जीवन जीने के लिए प्रेरित करता है. 'दार आत्मा' का मुख्य उद्देश्य एक ऐसा सुरक्षित स्थान प्रदान करना है, जहां लोग स्वयं को समझने, अपनी क्षमताओं को पहचानने और खुद को बेहतर बनाने की दिशा में काम कर सकें.

शेखा अल-सबाह ने योग को केवल शारीरिक व्यायाम तक सीमित नहीं रखा, बल्कि इसे एक समग्र चिकित्सा पद्धति के रूप में प्रस्तुत किया. उनका मानना है कि योग शरीर, मन और आत्मा को संतुलित करने का माध्यम है. उनके प्रयासों से कुवैत में योग प्रैक्टिस को आधिकारिक मान्यता प्राप्त हुई और उन्होंने 'शम्स यूथ योगा' की भी सह-स्थापना की, जो बच्चों के लिए विशेष योग पाठ्यक्रम प्रदान करता है.इनकेा योग स्टूडियो का कुवैत में पता हैयाकूब टॉवर, दूसरी मंजिल, हमौद ज़ैद अल खालिद सेंट, सल्मिया.
kuwait
'दार आत्मा' की खासियत

दार आत्मा स्टूडियो में योग के विभिन्न रूपों की पेशकश की जाती है. यहां दुनिया भर के विशेषज्ञ योग प्रशिक्षकों द्वारा योग की विभिन्न शैलियों की कक्षाएं आयोजित की जाती हैं. चाहे आप शुरुआती हों या उन्नत योग साधक, 'दार आत्मा' हर किसी के लिए कुछ न कुछ प्रदान करता है.

यहां चलने वाली प्रमुख योग कक्षाएं और उनकी विशेषताएं
kuwait
अष्टांग योग:

यह कक्षा शारीरिक शक्ति, लचीलापन और सहनशक्ति को बढ़ाने के लिए डिज़ाइन की गई है. इसमें सांस और आसनों का सामंजस्य होता है, जो मानसिक स्पष्टता लाने में मदद करता है.

शक्ति योग:

यह कक्षा ऊर्जा और उत्साह से भरपूर होती है. यह उन्नत स्तर की विविधताओं और उलटे आसनों के साथ आती है, जो शारीरिक और मानसिक संतुलन को मजबूत करती है.

विन्यासा योग:

यह कक्षा गति और प्रवाह पर केंद्रित होती है। इसमें एक मुद्रा से दूसरी मुद्रा में लयबद्ध तरीके से जाने का अभ्यास किया जाता है, जो लचीलापन और सहनशक्ति को बढ़ाता है.
kuwait
तनाव-मुक्त योग:

यह कक्षा तनाव और मानसिक थकान से राहत पाने के लिए है. इसमें धीमे और सरल आसनों का अभ्यास कराया जाता है, जिससे मन और शरीर को गहराई से आराम मिलता है.

यिन योग:

यह कक्षा धीमे और गहन खिंचाव के माध्यम से शरीर और मन को आराम देने पर केंद्रित है. यह उन लोगों के लिए है, जो गहरी शारीरिक और भावनात्मक मुक्ति की तलाश में हैं.

यिन/यांग योग:

यह कक्षा यिन योग की शांति और यांग योग की ऊर्जा का अनूठा मिश्रण है। यह शरीर की शक्ति और लचीलापन बढ़ाने के साथ-साथ तंत्रिका तंत्र को शांत करने में मदद करता है.
kueait
लचीलापन प्रवाह:

यह कक्षा हैमस्ट्रिंग, क्वाड्स, और हिप फ्लेक्सर्स को मजबूत और लचीला बनाने के लिए डिज़ाइन की गई है.

शेखा अल-सबाह की प्रेरणा और दृष्टि

शेख का जीवन दर्शन बहुत सरल है.उनका कहना है,मनुष्य को अपनी आंतरिक शक्ति को पहचानकर उसे दुनिया के सामने उजागर करना चाहिए. वह एक समर्पित योग साधक हैं, जो नियमित रूप से ध्यान और मौन साधना करती हैं. उनकी यह साधना उन्हें न केवल खुद को जानने का अवसर देती है, बल्कि दूसरों को भी प्रेरित करती है.

वह मानती हैं कि योग केवल शारीरिक व्यायाम नहीं, बल्कि एक जीवनशैली है, जो लोगों को आत्म-प्रेम, करुणा और जागरूकता सिखाती है. उनके प्रयासों से 'दार आत्मा' न केवल योग का केंद्र बना है, बल्कि एक ऐसा समुदाय भी बन गया है, जो एक-दूसरे का समर्थन करते हुए आत्म-विकास की दिशा में काम करता है.

भारत-कुवैत के रिश्तों को मजबूती

शेखा अल-सबाह के प्रयासों ने भारत और कुवैत के बीच सांस्कृतिक और ऐतिहासिक संबंधों को मजबूत किया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनकी उपलब्धियों की प्रशंसा करते हुए योग और ध्यान के माध्यम से उनके द्वारा किए गए काम को सराहा. कुवैत में योग को लोकप्रिय बनाने के लिए उनके योगदान को भारत सरकार ने भी सम्मानित किया.
kuwait
पद्मश्री 2025: एक ऐतिहासिक सम्मान

शेखा अल-सबाह का पद्मश्री 2025 से सम्मानित होना न केवल उनके लिए, बल्कि भारत और कुवैत के लिए भी गर्व की बात है. उनके इस सम्मान से योग और वेलनेस के क्षेत्र में नई प्रेरणा और ऊर्जा का संचार होगा.शेख अल-सबाह की यात्रा दिखाती है कि समर्पण और दृष्टि के साथ न केवल व्यक्तिगत बल्कि सामुदायिक परिवर्तन भी संभव है. उनका योग स्टूडियो 'दार आत्मा' इस बदलाव का जीता-जागता उदाहरण है.